मुंबई के जख्म पर मरहम लगाये कौन अब
दौर ये कब तक चलेगा ये बताये कौन अब
कह रहे हैं चल पड़ी रफ़्तार से फिर जिंदगी
जिसने अपनों को है खोया मुस्कुराये कौन अब
बेकसूरों के लहू से ये जमीं क्यूँ लाल है
आदमी ही आदमी का क्यूँ बना अब काल है
हो गए बहरे शिखर पर बैठने वाले सभी
दर्द की आवाज ये दिल की सुनाये कौन अब
मुंबई पीडितों को विनम्र श्रद्धांजलि
"हो गए बहरे शिखर पर बैठने वाले सभी
जवाब देंहटाएंदर्द की आवाज ये दिल की सुनाये कौन अब"
जिसने अपनों को है खोया मुस्कुराये कौन अब
जवाब देंहटाएंदिल को छू गये।